Tag: Joke
दूसरों के साथ वैसा न करें, जो हमें खुद पंसद नहीं
संजय सिन्हा, संपादक, आजतक :
वैसे तो चुटकुले हँसाने के लिए होते हैं, लेकिन मैं कई चुटकुलों को सुन कर दुखी हो जाता हूँ।
आज मैं एक ऐसा ही चुटकुला आपको सुनाने जा रहा हूँ, जिसे सुन कर बहुत से लोग मुस्कुराते हैं, हँसते हैं, पर मैं उदास हो जाता हूँ।
क्यों शानदार चुटकुला है “पाँच साल केजरीवाल”!
राजीव रंजन झा :
केजरीवाल हमेशा अपने लिए नयी मंजिलें तय करते आये हैं। उनकी हर मंजिल की एक मियाद होती है। जब तक उसकी अहमियत होती है, तभी तक वहाँ टिकते हैं। नौकरी तब तक की, जब तक थोड़ा रुतबा हासिल करने के लिए जरूरी थी। एनजीओ तब तक चलाया, जब तक उससे एक सामाजिक छवि बन जाये। आंदोलन तब तक चलाया, जब तक राजनीतिक दल बनाने लायक समर्थक जुट जायें।
जीवन जीने की तैयारी में खर्च होता जीवन
संजय सिन्हा, संपादक, आजतक :
कल किसी ने मुझे एक चुटकुला मैसेज किया। चुटकुला पढ़ कर मुझे हँसना चाहिए था, लेकिन मैं सारी रात सोचता रह गया। आइये पहले उस चुटकुले को आपसे साझा करता हूँ, फिर क्या सोचता रह गया इसे भी साझा करूँगा।