Thursday, April 25, 2024
टैग्स Controversy

Tag: Controversy

‘आप’ की झाड़ू, ‘आप’ पर!

क़मर वहीद नक़वी, पत्रकार :

आम आदमी पार्टी का बनना देश की राजनीति में एक अलग घटना थी। वह दूसरी पार्टियों की तरह नहीं बनी थी। बल्कि वह मौजूदा तमाम पार्टियों के बरअक्स एक अकेली और इकलौती पार्टी थी, जो इन तमाम पार्टियों के तौर-तरीकों के बिलकुल खिलाफ, बिलकुल उलट होने का दावा कर रही थी। उसका दावा था कि वह ईमानदारी और स्वच्छ राजनीतिक आचरण की मिसाल पेश करेगी। इसलिए 'आप' के प्रयोग को जनता बड़ी उत्सुकता देख रही थी कि क्या वाकई 'आप' राजनीति में आदर्शों की एक ऐसी लकीर खींच पायेगी कि सारी पार्टियों को मजबूर हो कर उसी लकीर पर चलना पड़े।

तुम्हारी गलती नहीं अफरीदी, विष के पेड़ में आम नहीं फलते

पद्मपति शर्मा, वरिष्ठ खेल पत्रकार :

शाहिद अफरीदी एक बार फिर विवादों में घिर गये हैं। पहले तो उन्होनें टी-20 विश्वकप में भाग लेने के लिए भारतीय धरती पर कदम रखते ही यह बयान दे कर कि उनको तो अपने देश से भी ज्यादा प्यार भारत में मिलता है, पाकिस्तानियों के कोप भजन बने और फिर न्यूजीलैंड के साथ 22 मार्च को हुए मैच के पहले यह बयान दे कर कि उनको कोलकाता में काफी समर्थन मिला था और मोहाली में काफी कश्मीरी हमारे समर्थन में यहाँ पहुँचे हैं, अपनी आवाम के गुस्से को कम करने की कोशिश की। लेकिन इससे वो भारतीयों के निशाने पर फिर आ गये।

जाति रे जाति, तू कहाँ से आयी?

क़मर वहीद नक़वी, वरिष्ठ पत्रकार :  

भारत में जाति कहाँ से आयी? किसकी देन है? बहस बड़ी पुरानी है। और यह बहस भी बड़ी पुरानी है कि आर्य कहाँ से आये? इतिहास खोदिए, तो जवाब के बजाय विवाद मिलता है। सबके अपने-अपने इतिहास हैं, अपने-अपने तर्क और अपने-अपने साक्ष्य और अपने-अपने लक्ष्य! जैसा लक्ष्य, वैसा इतिहास। लेकिन अब मामला दिलचस्प होता जा रहा है। इतिहास के बजाय विज्ञान इन सवालों के जवाब ढूँढने में लगा है। और वह भी प्रामाणिक, साक्ष्य-सिद्ध, अकाट्य और वैज्ञानिक जवाब। हो सकता है कि अगले कुछ बरसों में ये सारे सवाल और विवाद खत्म हो जायें। वह दिन ज्यादा दूर नहीं।

विराट की बदतमीजियों पर बीसीसीआई मजबूर क्यों

पवन कुमार नाहर

भारतीय टीम के उपकप्तान और रॉयल चैलेंजर्स के कप्तान विराट कोहली हमेशा सुर्खियों में रहते हैं।

‘आप’ का क्या होगा जनाब-ए-आली?

कमर वहीद नकवी , वरिष्ठ पत्रकार :

 ‘आप’ बड़े ताप में है! पारा गरम है। पार्टी तप रही है। तलवारें फिर तनी हैं।

बॉलीवुड के पोर्न-कारोबारियों को रेपिस्टों जैसी सजा मिले

अभिरंजन कुमार :

इंटरनेट, टीवी और फिल्मों के जरिए बेलगाम फैलाई जा रही अश्लीलता हमारे लिए बड़ी चिंता का मसला है, लेकिन AIB विवाद ने हमारी चेतना को झकझोर कर रख दिया है, इसलिये इसे लेकर मैं तल्खतम टिप्पणी करना चाहता हूं।

- Advertisment -

Most Read

शमशेरा : हिंदू घृणा और वामपंथी एजेंडा से भरी फिल्म को दर्शकों ने नकार दिया

शमशेरा हिंदू घृणा से सनी ऐसी फिल्म है, जिसका साहित्य में परीक्षण हुआ, जैसा कि फर्स्ट पोस्ट आदि पर आयी समीक्षाओं से पता चलता है, और फिर बाद में परदे पर उतारा गया। परंतु जैसे साहित्य में फर्जी विमर्श को रद्दी में फेंक कर जनता ने नरेंद्र कोहली को सिरमौर चुना था, वैसे ही अब उसने आरआरआर एवं कश्मीर फाइल्स जैसी फिल्मों को चुन लिया है और शमशेरा को गड्ढे में फेंक दिया है!

नेशनल हेराल्ड मामले का फैसला आ सकता है लोकसभा चुनाव से पहले

ईडी ने तो एक तरह से मामले को छोड़ दिया था। ईडी की पकड़ में यह मामला तब आया, जब कोलकाता में हवाला कारोबार करने वाली एक शेल कंपनी के यहाँ एजेएल और यंग इंडिया की हवाला लेन-देन की प्रविष्टि (एंट्री) मिली, और उसके तार ईडी की जाँच में गांधी परिवार तक गये। इसलिए गांधी परिवार से पूछताछ के बिना चार्जशीट दाखिल नहीं हो सकती है। राहुल गांधी और मल्लिकार्जुन खड़गे से पूछताछ हो चुकी है और अब सोनिया गांधी से पूछताछ हो रही है।

पाकिस्तान में बढ़ती शर्मनाक घटनाएँ, फिर भी पश्चिमी देशों का दुलारा पाकिस्तान

अमेरिका की एक व्लॉगर पाकिस्तान में विषय में वीडियो बनाती थी। उसके साथ सामूहिक बलात्कार हुआ है और बलात्कार करने वाले उसके अपने वही दो दोस्त हैं, जिनके बुलावे पर वह पाकिस्तान आयी।

लिबरल खेमा वैश्विक उथल-पुथल से प्रफुल्लित क्यों है?

उनके हर्ष का विषय तीन वैश्विक घटनाएँ हैं। पहली है यूके के प्रधानमंत्री बोरिस जॉनसन का इस्तीफा, दूसरी घटना है जापान के पूर्व प्रधानमंत्री शिंजो आबे की हत्या और तीसरी सबसे महत्वपूर्ण घटना है श्रीलंका का दीवालिया होना और राष्ट्रपति आवास पर आम जनता का नियंत्रण होना!
Cart
  • No products in the cart.