नानी दमन और मोटी दमन

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विद्युत प्रकाश मौर्य, वरिष्ठ पत्रकार :

गुजरात के वापी शहर के पास दमन केंद्र शासित प्रदेश है। कभी गोवा दमन और दीव मिलकर एक प्रदेश हुआ करते थे, पर गोवा को पूर्ण राज्य का दर्जा मिलने के बाद दमन और दीव अब केंद्र शासित प्रदेश हैं। हालाँकि दमन और दीव के बीच 700 किलोमीटर की दूरी है, पर दोनों का प्रशासन एक ही है।

देश भर के लोग दमन कहते हैं पर यहाँ के लोग लिखते हैं दमण। सरकारी अभिलेखों जमीन के कागजातों में भी लिखा जाता है दमण। दमण का फैलाव 72 वर्ग किलोमीटर में है। 2011 की जनगणना के मुताबिक दमन की आबादी 1.91 लाख है।

राजीव नहीं आए तो जनता ने खुद पुल खोला

यह राज्य दमन गंगा नदी के मुहाने पर स्थित है। एक और रोचक तथ्य है कि दमन गंगा नदी दमन को नानी दमन और मोटी दमन नामक दो छोटे शहरों में बांट देती है। गुजराती में नानी मतलब छोटी और मोटी मतलब बड़ी। यानी नानी दमन का इलाका छोटा है, जबकि मोटी दमन का दायरा बड़ा है। नानी दमन और मोटी दमन के बीच दमनगंगा नदी पर राजीव गांधी सेतु बना है। इस पुल का उद्घाटन करने तत्कालीन प्रधानमंत्री राजीव गांधी आने वाले थे, पर उनके समय नहीं देने पर जनता ने एक दिन खुद इस पुल को खोल दिया। हालाँकि पुल का नाम राजीव जी के नाम पर ही रखा गया। इस पुल के बगल में दमनगंगा नदी पर पुराना पुल भी दिखाई देता है, जिसपर अगस्त 2003 में बड़ा हादसा हो गया था, जिसमें 24 स्कूली बच्चों की मौत हो गयी थी। 

1523 में पहली बार पुर्तगालियों ने दमन में कदम रखे थे। एक पुर्तगाली व्यापारी डियागो डि मेलो का जहाज भटककर इस क्षेत्र में आ गया था। तूफान में जहाज फंस जाने पर उसने पहले समझा कि उसकी जान तो अब गयी, पर उसने कुछ समय बाद खुद को दमन के तट पर सुरक्षित पाया। इसके बाद साढे चार सौ सालों तक दमन पर पुर्तगालियों का कब्जा रहा। दिसंबर 1961 में दमन भारत का हिस्सा बना। दमन की आजादी के लिए हुई लड़ाई में 4 भारतीयों की शहादत हुयी, 14 घायल हुये, वहीं इस लड़ाई में 10 पुर्तगाली मारे गए और 2 घायल हुये।

दमन देश में अपने पांच सितारा रिजार्ट्स, होटल, रेस्टोरेंट, नाइट क्लब, जिम, स्पा सेंटर और समुद्र तट के लिए जाना जाता है। हालाँकि अपनी प्राकृतिक सुन्दरता के कारण दमन दुनिया भर से सैलानियों को आकर्षित करता है। दमन को विशेष रूप से अपने पुर्तगाली उपनिवेशी वास्तुकला, आकर्षक समुद्र तटों और गिरिजाघरों के लिए जाना जाता है।

दमन पर्यटन का सांस्कृतिक स्वरूप जनजातीय, शहरी, यूरोपीय और भारतीय परम्पराओं को मिश्रण है। इस जिले की बहुत ही समृद्ध विरासत है। यहाँ के निवासी नृत्य और संगीत को विशेष महत्व देते हैं। इस जगह की शांत सुन्दरता के साथ-साथ आप दमन के समुद्र तटों पर गुनगुनी धूप का आनंद भी ले सकते हैं। प्रकृति के सुंदर नजारों के अलावा आप दमन के विभिन्न प्रकार के लजीज समुद्री पकवानों का भी आनन्द ले सकते हैं।

कब पहुँचे

पूरे साल भर यहाँ का मौसम सुहावना रहता है। यहाँ कभी भी आया जा सकता है। यहाँ न्यूनतम 11 डिग्री सेल्सियस और अधिकतम 39 डिग्री सेल्सियस के बीच रहता है। गर्मियों के दौरान भी दमन में शाम को ठंडी हवाएं चलती हैं। हालाँकि दमन की यात्रा के लिए सर्वश्रेष्ठ समय सितम्बर की शुरुआत से मई के अन्त के बीच का समय है।

क्या देखें

अगर आप समंदर के किनारे समय देना चाहते हैं तो तो दमन में जंपोर समुद्र तट काफी लोकप्रिय है। इसके अलावा देवका समुद्र तट है जहाँ एक पंक्ति में कई सारे होटल हैं। यहाँ आप लजीज खाने का आनंद उठा सकते हैं। दमन में आप बॉम जीसस गिरिजाघर, वैभव वॉटर वर्ल्ड और सेन्ट जेरोम का किला आदि देख सकते हैं। दमन के मुख्य किले में सरकारी दफ्तर चलते हैं।

(देश मंथन, 11 मार्च 2015)

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